गुरुवार, 10 जनवरी 2013

भारतीय ख़ुफ़िया तंत्र क्यों बार बार विफल हो जाता है !!

हम भारतवासी सपना तो देख रहे हैं एक महाशक्ति बनने का और भारत के पास सामर्थ्य भी है लेकिन हमारी व्यवस्थाएं वाकई क्या हमको महाशक्ति बनने देगी यह सवाल सबसे बड़ा है ! महाशक्ति बनने के लिए मजबूत इच्छाशक्ति की जरुरत होती है वो हमारे नेतृत्व के पास दिखाई नहीं पड़ती और हमारा पूरा का पूरा तंत्र खोखला दिखाई पड़ता है और ऐसी दशा में हम महाशक्ति बनने का ख्वाब देख रहे हैं !!

हमारे यहाँ पर हर कोई जिम्मेदारी लेने से हर कोई बचता है और जवाबदेही तय करने का तो यहाँ जैसे कोई रिवाज ही नहीं है ! अपराधों के बढ़ने लिए पुलिस जवाबदेही नहीं लेती है तो देश की बदहाल स्थति के लिए सरकार जवाबदेही नहीं लेती है ! हमारा खुफ़िया तंत्र हर बार फ़ैल होता है और उसकी जिम्मेदारी कोई नहीं लेता तो जांच एजेंसियां अपराधियों को उनके अंजाम तक पहुंचाने में नाकाम रहती है और किसी कि जवाबदेही तय नहीं की जाती है ! ऐसे में अगर हम ताकतवर देश बनने का सपना देख रहें है तो यह हमारी मूर्खता है !!